पटना। 22 नवंबर को एम्स पटना के ऑडिटोरियम में राष्ट्रीय सम्मेलन “ईव एंडोस्कोपी 2025 – पाटलिपुत्र” का भव्य उद्घाटन उत्साहपूर्ण माहौल में संपन्न हुआ। यह सम्मेलन भारतीय एसोसिएशन ऑफ गायनेकोलॉजिकल एंडोस्कोपिस्ट्स और एम्स पटना के प्रसूति एवं स्त्रीरोग विभाग द्वारा आईएजीई के सहयोग से आयोजित किया गया, जिसका उद्देश्य स्त्रीरोग एंडोस्कोपी में नवीनतम तकनीकों, सुरक्षित शल्य प्रक्रियाओं और महिला नेतृत्व को प्रोत्साहित करना है।

उद्घाटन समारोह और अतिथिगण
कार्यक्रम की शुरुआत अतिथियों का स्वागत, पुष्पगुच्छ भेंट और दीप प्रज्वलन से हुई, इसके बाद वंदना का आयोजन किया गया। आयोजन अध्यक्ष प्रो. (डॉ.) अनीता सिंह और मुख्य संरक्षक ब्रिगेडियर (सेवानिवृत्त) प्रो. (डॉ.) राजू अग्रवाल, ईडी-कम-सीईओ, एम्स पटना ने उद्घाटन भाषण में एंडोस्कोपी के बढ़ते महत्व और स्त्रीरोग क्षेत्र में इसके योगदान पर प्रकाश डाला। मंच पर डॉ. सुधा टंडन, डॉ. पूनम प्रसाद भदानी, डॉ. संगम झा और डॉ. मोनिका आनंद सहित अनेक विशिष्ट अतिथि उपस्थित रहे।

विशेष व्याख्यान और अनुभव साझा करना
सम्मेलन में मुख्य अतिथि डॉ. प्रकाश त्रिवेदी ने “शून्य से पुण्य तक — अपने भविष्य का निर्माण” विषयक प्रेरक व्याख्यान प्रस्तुत किया, जिसमें चिकित्सा शिक्षा, सकारात्मक दृष्टिकोण और शल्य चिकित्सा उत्कृष्टता पर जोर दिया गया। इसके अलावा, डॉ. कल्याण बर्माडे और डॉ. रेखा कुरियन ने एंडोस्कोपिक शल्य-क्रियाओं में चल रहे वैश्विक अनुसंधान, सुरक्षित तकनीक और मरीज-केंद्रित दृष्टिकोण पर अपने अनुभव साझा किए। उद्घाटन सत्र का समापन राष्ट्रगान और सांस्कृतिक प्रस्तुति के साथ हुआ।

शैक्षणिक गतिविधियाँ और वर्कशॉप्स
उद्घाटन दिवस पर आयोजित प्री-कॉन्फ्रेंस वर्कशॉप्स में फाइब्रॉइड, एडेनोमायोसिस और एंडोमेट्रियोसिस पर विशेषज्ञ प्रशिक्षण दिया गया। हाइस्टेरोस्कोपिक सेप्टल रिसेक्शन, लैप सिस्टेक्टॉमी, उर्वरता-संरक्षण शल्य, लैप मयोमेक्टॉमी, टीएलएच और हाइस्टेरोस्कोपिक मयोमेक्टॉमी जैसी प्रमुख प्रक्रियाओं का लाइव प्रशिक्षण देशभर के अनुभवी स्त्रीरोग एंडोस्कोपिस्ट्स— प्रो. अनीता सिंह, डॉ. अरुणा टंटिया, डॉ. माला राज, डॉ. मंजुला आनागानी और डॉ. मुक्ता अग्रवाल द्वारा प्रदान किया गया।

सम्मेलन का महत्व और भविष्य की दिशा
आईएजीई के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, सचिव, पूर्व अध्यक्ष और मैनेजिंग कमेटी की सक्रिय भागीदारी ने सम्मेलन को और अधिक प्रभावशाली बनाया। एम्स पटना ने बताया कि यह सम्मेलन तेजी से विकसित हो रहे स्त्रीरोग एंडोस्कोपी क्षेत्र में पूर्वी भारत के युवा डॉक्टरों के लिए सीखने, अनुसंधान करने और महिला एंडोस्कोपिस्ट्स के नेतृत्व को सशक्त बनाने में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।
ब्यूरो रिपोर्ट अजीत यादव