
फुलवारी शरीफ।
ईसापुर पेट्रोल लाइन, फुलवारी शरीफ में असगरीया सिलाई सेंटर का भव्य उद्घाटन हुआ। इस अवसर पर बड़ी संख्या में महिलाएँ, छात्राएँ और क्षेत्र के सम्मानित लोग मौजूद रहे। समारोह का माहौल उत्साह और उमंग से भरा रहा।
सेंटर के निदेशक मौलाना मुफ्ती मोहम्मद जमालुद्दीन क़ासमी ने सिलाई-कढ़ाई के महत्व और इसके सामाजिक-आर्थिक प्रभाव पर विस्तार से चर्चा की। उन्होंने कहा कि सिलाई एक सम्मानजनक और उपयोगी हुनर है, जो न केवल घर-परिवार की जरूरतें पूरी करता है, बल्कि महिलाओं को आर्थिक रूप से सक्षम बनाकर आत्मनिर्भर बनने का अवसर भी प्रदान करता है। उन्होंने छात्राओं को प्रोत्साहित करते हुए कहा, “आज के दौर में हुनर सीखना हर महिला के लिए जरूरी है, ताकि वे आत्मविश्वास के साथ हर क्षेत्र में सक्रिय भूमिका निभा सकें।”
असगरीया सिलाई सेंटर में नाममात्र शुल्क पर सिलाई, कटाई और परिधान निर्माण की व्यावहारिक ट्रेनिंग दी जाएगी। सेंटर में अनुभवी शिक्षिकाएँ छात्राओं को आधुनिक तकनीक और पारंपरिक कला का संतुलित प्रशिक्षण देने में जुटी हैं। साथ ही, बुनियादी शिक्षा पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है, जिससे छात्राओं को कौशल के साथ ज्ञान का भी लाभ मिल सके।
स्थानीय महिलाओं और गणमान्य व्यक्तियों ने इस पहल की भूरि-भूरि प्रशंसा की। उनका कहना था कि यह सिलाई सेंटर क्षेत्र की महिलाओं और लड़कियों के लिए किसी उपहार से कम नहीं है। इससे उनका आत्मविश्वास बढ़ेगा और वे अपने परिवार एवं समाज के लिए प्रेरणा स्रोत बनेंगी। उपस्थित महिलाओं ने उम्मीद जताई कि असगरीया सिलाई सेंटर आने वाले समय में लड़कियों के सशक्तिकरण और सफलता की नई मिसालें कायम करेगा।
समारोह के समापन पर मौलाना क़ासमी ने छात्राओं को संदेश दिया कि वे इस हुनर को पूरी लगन और गंभीरता से सीखें और इसे अपनी जिंदगी की पूंजी बनाएँ। उन्होंने कहा, “शिक्षा और कौशल का संगम ही असली तरक्की का रास्ता है। अगर महिलाएँ हुनरमंद बनेंगी, तो परिवार से लेकर समाज तक, हर स्तर पर सकारात्मक बदलाव आएगा।”
ब्यूरो रिपोर्ट अजीत यादव