
धमदाहा/पूर्णिया।
धमदाहा स्थित अनुमंडलीय अस्पताल में सोमवार को डॉ. भीमराव अंबेडकर की जयंती हर्षोल्लास के साथ मनाई गई। कार्यक्रम का नेतृत्व अस्पताल के प्रभारी उपाधीक्षक डॉ. मनोज कुमार ने किया। इस अवसर पर डॉ. अंबेडकर के तैलचित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। डॉ. मनोज कुमार ने डॉ. अंबेडकर के जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि वे भारतीय इतिहास के एक महान व्यक्तित्व थे। वे न सिर्फ भारतीय संविधान के शिल्पकार थे, बल्कि दलित वर्गों के अधिकार और सामाजिक न्याय के लिए संघर्ष करते हुए समाज में क्रांतिकारी परिवर्तन लाए। उन्होंने शिक्षा, समानता और बंधुत्व के सिद्धांतों को जीवन में आत्मसात कर समाज को नई दिशा दी।
उन्होंने बताया कि डॉ. अंबेडकर का जन्म 14 अप्रैल 1891 को मध्य प्रदेश के महू में महार जाति में हुआ था। एल्फिंस्टन हाई स्कूल से प्रारंभ कर कोलंबिया विश्वविद्यालय और लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स तक की उनकी शैक्षणिक यात्रा प्रेरणादायक रही। 1927 के महाड़ सत्याग्रह और 1932 के पूना समझौते से लेकर संविधान निर्माण और स्वतंत्र भारत के पहले कानून मंत्री बनने तक उनकी भूमिका ऐतिहासिक रही। मौके पर डॉ. मुस्तक आलम, डॉ. बागेश्वर कुमार, डॉ. नेहा भारती, डॉक्टर काफीला अहमद, जीएनएम अनिता कुमारी, पूजा कुमारी, रणजीत कुमार, उमेश प्रसाद सहित अस्पताल के सभी कर्मीगण उपस्थित थे।
ब्यूरो रिपोर्ट संतोष कुमार