
पटना से बिहटा तक गूंजा उठा हर-हर महादेव
बिहटा/पटना।
पटना से सटे बिहटा के बाबा बिटेश्वरनाथ मंदिर में बीते कई वर्षों से भादो माष के त्रयोदशी की अंधेरी रात में निकलने वाला 54 फीट का कांवर यात्रा जलाभिषेक करने पहुंचा। पटना के एनआईटी घाट स्थित गंगा जल लेकर हजारों की संख्या में श्रद्धालु पैदल हीं 54 फीट के कांवर के साथ बिहटा के ऐतिहासिक बाबा बिटेश्वरनाथ के मंदिर में बाबा के उपर जलाभिषेक किया। यह कांवर यात्रा बिहार सरकार से मान्यता प्राप्त कांवरिया संघ के द्वारा हर वर्ष किया जाता है। कांवरियों के लिए रास्ते में हर जगह श्रद्धालुओं के द्वारा स्वागत किया जाता है। वहीं इस दौरान पटना जिला प्रशासन और स्थानीय पुलिस प्रशासन की ओर से हर जगहों पर पुलिस बल की तैनाती रहती है। यह कांवर यात्रा पटना के एनआईटी घाट से जल लेकर चितकोहरा बाजार, फुलवारी शरीफ , खगौल, शिवाला चौक, कन्हौली होते हुए पहुंची है और बोल-बम, हर हर महादेव के नारों के साथ बाबा बिटेश्वरनाथ पर जलाभिषेक किया।


डाक कांवरिया संघ के सचिव कमलेश पाण्डेय ने बताया कि हम सभी कांवरिया साथी प्रत्येक वर्ष पटना के एनआईटी घाट से जल लेकर डॉकबंग्ला, चितकोहरा, फुलवारी शरीफ, खगौल, शिवाला चौक, और कन्हौली के रास्ते कांवर लेकर बिहटा के बाबा बिटेश्वरनाथ मंदिर में बाबा को जल चढ़ाकर पूजा अर्चना करते हैं। बाबा बिटेश्वरनाथ की महिमा अपरंपार है, सच्चे मन से मांगी गई मनोकामना बाबा जरूर पूरी करते हैं। उन्होंने बताया कि यह परंपरा की शुरुआत उत्तर प्रदेश बलिया के प्रतापी बाबा सावन माह में कांवर लेकर देवघर के शिव मंदिर में जलाभिषेक किया, जहां उनके दर्शन उपरांत लोगों ने बाबा बिटेश्वरनाथ के बारे में बताया और 54 फीट की कांवर से बाबा बिटेश्वरनाथ के उपर जल चढ़ाने का विधिवत पूजा अर्चना करने की बात भी बताई। तब से लगातार हर वर्ष हजारों की संख्या में लोग इस कांवर यात्रा में शामिल होकर जलाभिषेक करने की परंपरा को कायम करते आ रहे हैं।

सोमवार को कांवर यात्रा के आगे पीछे हजारों श्रद्धालु बैंड बाजे और डीजे के धुन पर हर हर महादेव ,जय भोलेनाथ, आदि जयकारे लगाते हुए बिहटा बाबा बिटेश्वरनाथ मंदिर पहुंचे। वहीं कांवर यात्रा में रास्ते में आने वाले सभी गांवों के लोग, जनप्रतिनिधि भी इस कांवर यात्रा में शामिल हुए। इस रास्ते में फुलवारी शरीफ, खगौल, शिवाला चौक, नेऊरा गंज, गोढ़ना, महमदपुर, राजपुर, अहियापुर, पैनाल, बिशुनपुरा के युवाओं के द्वारा कांवरियों की सेवा के लिए जगह जगह काउंटर लगाए गए थे।
ब्यूरो रिपोर्ट