बिहार सरकार द्वारा भी जांच जारी, न्यायालय में अगली सुनवाई 9 सितंबर को

पटना।

पटना के बहुचर्चित फर्जी फ्लैट रजिस्ट्री मामले में पटना व्यवहार न्यायालय (जेएमएफसी-2) ने पूर्व डीसीएलआर पटना सदर मैत्री सिंह, उनके पिता लाल नारायण सिंह, ममेरे भाई कान्तेश रंजन सिंह, रुक्मणी बिल्डटेक प्रा. लि. के निदेशक अजीत आजाद, मानब कुमार सिंह और गवाह अनिल यादव को नोटिस जारी कर 9 सितंबर 2025 को तलब किया है.

मामला एकतापुरम, पटना स्थित फ्लैट A-1/603 से जुड़ा है, जिसके असली मालिक नागेश्वर सिंह स्वराज ने आरोप लगाया कि तत्कालीन डीसीएलआर मैत्री सिंह ने पद और प्रभाव का दुरुपयोग कर फर्जी दस्तावेजों के जरिए फ्लैट को अपने परिजनों के नाम करवा लिया. इस मामले में बिहार सरकार ने भी डीसीएलआर के खिलाफ विभागीय जांच शुरू कर दी है. इतना ही नहीं डीसीएलआर मैत्री सिंह पहले से ही भ्रष्टाचार के अन्य मामले में निलंबित हैं.

एडवोकेट के मुताबिक अगली सुनवाई 9 सितंबर को होगी, जिसमें सभी पक्षों को अपना पक्ष और साक्ष्य पेश करना होगा. मामला प्रशासनिक पद के दुरुपयोग, भू-स्वामित्व की सुरक्षा और निवेशकों के भरोसे से जुड़ा होने के कारण बेहद संवेदनशील माना जा रहा है.

ब्यूरो रिपोर्ट अजीत यादव