
पटना।
‘बिहार पशु विज्ञान विश्वविद्यालय पटना, और इंडियन सोसाइटी ऑफ एनिमल जेनेटिक्स एंड ब्रीडिंग द्वारा आयोजित दो दिवसीय अठारहवाँ वार्षिक अधिवेशन का समापन शुक्रवार को बिहार पशु चिकित्सा महाविद्यालय के प्रांगण में हुआ. इस समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में डॉ. बी.पी. मिश्रा, सोसाइटी के प्रेसिडेंट और निदेशक, भा.कृ.अ.प.- राष्ट्रीय पशु आनुवंशिक संसाधन ब्यूरो उपस्थित रहे. डॉ. वीर सिंह, निदेशक आवासीय निर्देश-सह-अधिष्ठाता स्नातकोत्तर शिक्षा, बिहार पशु विज्ञान विश्वविद्यालय, विशेष अतिथि के रूप में समारोह में शामिल हुए एवं डॉ. विशेष कुमार सक्सेना, निदेशक शोध ने समापन समारोह की अध्यक्षता की.
इस अधिवेशन में देश भर के 22 राज्यों से 200 पशु आनुवंशिकी वैज्ञानिकों ने भाग लिया और सतत पशु उत्पादन के लिए अपने विचार व्यक्त किए. तीन प्रमुख तकनीकी सत्र आयोजित किए गए, जिनमें स्वदेशी पशु आनुवंशिक संसाधन और उनका प्रबंधन, पशुधन और मुर्गी पालन के लिए नवीन प्रजनन रणनीतियाँ और पशु उत्पादकता वृद्धि के लिए जीनोमिक्स, फेनोमिक्स और जैव सूचना विज्ञान का उपयोग पर गहन चर्चा हुई.यह अधिवेशन भारतीय पशु आनुवंशिकी और प्रजनन के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान साबित हुआ और विज्ञान के नवीनतम दृष्टिकोणों को साझा करने का एक उत्कृष्ट मंच प्रदान किया.
डॉ. बी.पी. मिश्रा, मुख्य अतिथि ने कहा की ईस अधिवेशन ने हमें पशु आनुवंशिकी और प्रजनन के क्षेत्र में नवाचारों को साझा करने का महत्वपूर्ण अवसर प्रदान किया है.हमारे देश में स्वदेशी आनुवंशिक संसाधनों का प्रबंधन और उन्नति आवश्यक है, ताकि हम सतत पशु उत्पादन में सफल हो सकें.
डॉ. वीर सिंह, विशिष्ट अतिथि ने कहा की पशु आनुवंशिकी के क्षेत्र में निरंतर शोध और विकास की आवश्यकता है, और हम इस दिशा में सक्रिय रूप से काम कर रहे हैं. इस सम्मेलन से हमें नए दृष्टिकोण और प्रौद्योगिकियों को अपनाने का अवसर मिलेगा.
डॉ. विशेष कुमार सक्सेना, निदेशक शोध ने कहा
हमने विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में कई नई दिशा-निर्देशों पर चर्चा की.इस प्रकार के आयोजन भारतीय वैज्ञानिकों को नई विधाओं, तकनीकों और दृष्टिकोणों को समझने और उन्हें लागू करने में मदद करते हैं, जो अंततः हमारे पशु उत्पादन उद्योग को लाभ पहुंचाएंगे.
आयोजन सचिव डॉ जय प्रकाश गुप्ता ने सभी अतिथियों का धन्यवाद ज्ञापन किया.
ब्यूरो रिपोर्ट अजीत यादव